RAKHI Saroj

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लेखनी प्रतियोगिता -26-Sep-2023

  अनमोल 

कभी मिलोंगे तो हम तुम्हें बताएंगे 
तेरे बिना भी धड़कने चलती है
चांद, रात से बातें कर हमें अब भी 
मुस्कराहट और दर्द में मेरे पास रहता है।
कभी मिलोंगे तो ‌हम बताएंगे 
जिंदगी भी मुश्किल है बिन राह में हाथ 
तेरे थामें हम अब भी मुस्कुरा लिया करते है।
कभी मिलोंगे तो ‌हम तुम्हें बताएंगे
जिंदगी में अब सज़ा में किसी की 
गलत फेमी का रंग नहीं।
कभी मिलोंगे तो ‌हम बताएंगे
खुद से ज्यादा अब कोई अनमोल नहीं। 
 राखी सरोज
नई दिल्ली 



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3 Comments

Varsha_Upadhyay

27-Sep-2023 07:45 PM

Nice 👍🏼

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Gunjan Kamal

27-Sep-2023 10:10 AM

👏👌

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Reena yadav

27-Sep-2023 06:56 AM

👍👍

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